रास्ते अलग, लेकिन प्लेन एक! देखिए जब पटना से साथ दिल्ली उड़े तेजस्वी और नीतीश
रास्ते अलग, लेकिन प्लेन एक! देखिए जब पटना से साथ दिल्ली उड़े तेजस्वी और नीतीशकहते हैं ना कि राजनीति में कोई किसी का दुश्मन नहीं होता और ना ही किसी से दुश्मनी लंबे समय तक टिकती है. लोकसभा चुनाव के बाद बिहार में जिस तरह के राजनीतिक घटनाक्रम सामने आ रहे हैं इससे तो ऐसा ही लगता है. ये संयोग ही है कि बिहार के सीएम नीतीश कुमार और पूर्व उप-मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव पटना से एक ही फ्लाइट में साथ दिल्ली आ रहे हैं. चुकि राजनीति संकेतों और संभावनाओं पर आधारित होता है, ऐसे में इस खबर के सामने आते ही तमाम तरह की अटकलें लगाई जाने लगी हैं. राजनीति के जानकार की मानें तो नीतीश कुमार और तेजस्वी यादव का एक साथ एक ही फ्लाइट से दिल्ली आना कई तरह के संकेत दे रहा है. लोकसभा चुनाव 2024 का परिणाम आने के बाद से नीतीश कुमार एक किंग मेकर की तरह देखे जाने लगे हैं. राजनीतिक पंडितों का मानना है कि अगर केंद्र में एनडीए की सरकार बनेगी तो इसमें जेडीयू जैसी पार्टी का सबसे ज्यादा योगदान रहेगा. ऐसा इसलिए भी क्योंकि भारतीय जनता पार्टी ने इस आम चुनाव में 240 सीटें जीती हैं. ऐसे में वह बहुमत से 32 सीटें पीछे रह गई है. लिहाजा अब उसकी निर्भरता उसके घटक दलों पर ज्यादा है.पीएम मोदी ने जनता का किया धन्यवादमंगलवार की शाम जब रुझान नतीजों में बदले तो पीएम मोदी बीजेपी मुख्यालय पहुंचे. उन्होंने इस दौरान अपने कार्यकर्ताओं में उत्साह भरा और कहा है हमनें लगातार तीसरी बार सत्ता में वापसी करके आज इतिहास रच दिया है. अपने संबोधन के दौरान पीएम मोदी ने एनडीए के घटक दलों की भी तारीफ की. पीएम मोदी ने खास तौर पर तेलुगु देशम पार्टी के प्रमुख एन चंद्रबाबू नायडू की जमकर तारीफ की.साथ ही एनडीए गठबंधन के सहयोगी और जेडीयू प्रमुख नीतीश कुमार की जमकर तारीफ की है. पीएम मोदी ने कहा कि एनडीए ने आंध्र प्रदेश में चंद्रबाबू नायडू के नेतृत्व में शानदार प्रदर्शन किया है और बिहार में नीतीश बाबू के नेतृत्व में हमें सफलता मिली है. पीएम ने टीडीपी और जेडीयू की तारीफ कर दिया संदेशराजनीति के जानकार मानते हैं कि पीएम मोदी ने चुनाव परिणाम आने के बाद जिस तरह से अपने संबोधन में टीडीपी और जेडीयू की तारीफ की, वो एक अहम संदेश देता है. पीएम मोदी की इस तारीफ ने ये तो साफ कर दिया है कि अगर केंद्र में एनडीए सरकार बनाएगी तो उसमें इन दोनों पार्टियों का सबसे ज्यादा योगदान रहेगा. ऐसा इसलिए भी क्योंकि इन बीजेपी के बाद एनडीए में सबसे ज्यादा सांसद इन्हीं दोनों पार्टियों के पास हैं.