सूटकेस मर्डर कांड निकली गहरी साजिश, वकील व उसकी पत्नि सहित 4 गिरफ्तार, गला दबाकर चाकू से कर दी हत्या

रायपुर। डीडी नगर इलाके में सूटकेस मर्डर कांड एक गहरी साजिश का नतीजा है। इसमें मर्डर के मुख्य आरोपी रिटायर्ड एएसआई का बेटा अंकित उपाध्याय, उसकी पत्नी शिवानी शर्मा, विनय यदु और सूर्यकांत यदु के अलावा अन्य लोग भी शामिल हैं। इस साजिश की शुरुआत 2018 से हो गई, जब आरोपी कथित वकील अंकित की वर्ष 2018 में हांडीपारा निवासी किशोर पैकरा से मुलाकात हुई। 58 वर्षीय किशोर के आजादचौक स्थित उसके मकान पर खरोरा के ग्राम बेलटुकरी निवासी चंद्रप्रकाश व अन्य लोगों ने फर्जी दस्तावेज बनाकर कब्जा कर लिया। उस समय अंकित अपने आप को वकील बताकर किशोर से मिला।
उसने आश्वासन दिया कि वह हाईकोर्ट से उस मकान पर उसे कब्जा दिलाएगा। यह कहकर उसके सीनियर वकील से केस छुड़वा दिया। केस के नाम पर उनसे बीच-बीच में मोटी रकम लेता रहा। उनके अन्य मकानों को भी बेचना शुरू कर दिया। मकान बेचने से मिले पैसों को अपने पास रख लिया। इसी बात के चलते अंकित और उसकी पत्नी शिवानी ने साजिश करके इंद्रप्रस्थ के फ्लैट में किशोर की हत्या कर दी। इसके बाद शव को सूटकेस में भरकर टिन की पेटी में ले जाकर सुनसान जगह पर फेंक दिया। पुलिस ने चारों आरोपियों को गिरतार कर लिया है। उन्हें तीन दिन की पुलिस रिमांड पर लिया है। आरोपी अंकित के पिता आजादचौक पुलिस सबडिवीजन में लंबे समय से पदस्थ थे। एएसआई बनकर पिछले साल रिटायर्ड हुए हैं।
हांडीपारा निवासी की 65 एकड़ जमीन की थी जानकारी: हांडीपारा निवासी किशोर की रायपुर और अन्य स्थानों पर करोड़ों की जमीन थी। अंकित को पता चला कि तिल्दा-नेवरा-धरसींवा के बीच उसकी 65 एकड़ पुश्तैनी जमीन है। हालांकि मौके पर करीब 35 एकड़ जमीन थी। यह जमीन सर्वाकार है। इसे केवल दानपत्र से लिया जा सकता था। अंकित ने जमीन-जायदाद के मामलों को निपटाने का आश्वासन देकर किशोर को अपने जाल में फांस लिया।
संदिग्ध एक्सीडेंट, दोनों पैर बेकार: जून 2024 में महादेवघाट में पंडित प्रदीप मिश्रा का शिवमहापुराण कथा का आयोजन हुआ। इसमें किशोर भी गया। कथा सुनकर साइकिल से लौट रहा था। उस दौरान अज्ञात वाहन ने उसे टक्कर मार दी। इससे उसके दोनों पैर बेकार हो गए। वह ज्यादा चल-फिर नहीं सकता था। वह अपने घर में ही पड़ा रहता था। मोहल्ले वालों के मुताबिक अंकित अक्सर किशोर के घर आता था। सुबह-शाम खाना छोड़ता था। बाहर से ताला लगाकर चला जाता था। किशोर पूरी तरह से अंकित पर आश्रित था। किशोर की मां की मौत को लेकर भी कई तरह के संदेह हैं।
मास्टरमाइंड अंकित उपाध्याय, पत्नी शिवानी शर्मा सहित चार गिरफ़्तार
हत्या के बाद शव को छिपाने के लिए आरोपियों ने शव को लाल रंग के ट्राली बैग में भरा। इसके बाद उसमें परफ्यूम स्प्रे किया। इसके बाद कमरा बंद करके अपने घर चले गए। उसी रात गोलबाजार पेटी लाइन से टिन की पेटी आर्डर किया। अगले दिन 22 जून को सुबह करीब 9.30 बजे दोनों रूम में जाकर हत्या में इस्तेमाल चाकू और खून लगे टॉवेल को प्लास्टिक की बोरी में भरकर भाठागांव के पास नाले में फेंक दिया। फिर दोनों दोपहर में टिन की पेटी लेने गए।
ऑनलाइन पेमेंट करने के बाद पेटी को ऑटो में लोड करके इंद्रप्रस्थ के फ्लैट में ले गए। वहां शव से लगातार बदबू आ रही थी। इसके बाद दोनों ने हार्डवेयर दुकान से करीब 30 किलो सीमेंट खरीदा। सीमेंट को सूटकेस के अंदर रखे शव के ऊपर डाल दिया। इसके बाद सूटकेस को बंद करके टिन की पेटी में बंद दिया। 23 जून को सुबह 8 बजे दोनों पति-पत्नी इंद्रप्रस्थ के फ्लैट में पहुंचे। पेटी को उठाने की कोशिश की, लेकिन नहीं उठा पाए। इसके बाद अंकित ने अपने बड़े भाई प्रिटिंग प्रेस में काम करने वाले सूर्यकांत यदु और विनय यदु को बुलाया। दोनों शव को ठिकाने लगाने में मदद करने के लिए तैयार हो गए।
एयरपोर्ट छोड़ने गया एक भाई
शव को ठिकाने लगाने के बाद अंकित और शिवानी ने अपने परिवार को इसकी जानकारी दे दी। इसके बाद दोनों ने बाहर भागने की प्लानिंग की। घर से नकदी, जेवर, बैग लेकर दोनों एयरपोर्ट पहुंचे। सूत्रों के मुताबिक अंकित के एक भाई ने दोनों को एयरपोर्ट छोड़ा था। इससे पूरे मामले में उसके घर वालों की भूमिका भी सवाल उठने लगे हैं।
लिफ्ट से उतारा, कई लोगों की पड़ी नजर
आरोपियों ने शव भरी टिन की पेटी को ठिकाने लगाने लिफ्ट से नीचे लाया। अंकित, सूर्यकांत और विनय ने पेटी को अल्टो कार की डिक्की में रखा। इसके बाद सुनसान इलाके में चले गए। शिवानी अपनी दोपहिया से उनके साथ-साथ गई। शिव को फेंकने के बाद कार को पुरानीबस्ती के एक गैरेज में डेंटिंग पेंटिंग के लिए दी। अंकित और शिवानी अपने घर आ गए।
दानपत्र के जरिए संपत्ति हड़पने की आशंका
मृतक किशोर कई सालों से अकेले ही जीवन यापन कर रहा था। उनके करीबी रिश्तेदारों ने भी उनसे दूरी बना ली थी। किशोर की ग्राम मोहंदी की पैतृक जमीन ही करोड़ों की है। रायपुर में भी मकान थे। मोहंदी की पैतृक संपत्ति को दानपत्र के जरिए ही लिया जा सकता था। आशंका है कि अंकित ने कहीं दानपत्र के जरिए उस संपत्ति को हड़प तो नहीं लिया है? फिलहाल पुलिस तीन दिन की रिमांड पूछताछ करेगी। इसमें कई चौंकाने वाली जानकारियां आ सकती हैं।
मामले का खुलासा करते हुए एसएसपी डॉक्टर लाल उमेद सिंह ने बताया कि अंकित ने मृतक किशोर पैंकरा के बजरंग नगर के मकान को 30 लाख रुपए में बेच दिया। उस राशि को अंकित ने रख लिया। किशोर अपने पैसे मांगता था। इस पर किशोर झांसा देता था कि मैं तुम्हारा देखभाल करूंगा और रोज खाना खिलाऊंगा। रोज पैसों की मांग करने के बाद अंकित ने अपनी पत्नी शिवानी शर्मा के साथ मिलकर किशोर की हत्या की प्लानिंग की।
सीसीटीवी फुटेज से आरोपियों की पहचान
सोमवार को इंद्रप्रस्थ कॉलोनी के सुनसान स्थान पर किशोर पैंकरा की लाश मिली। लाश एक सूटकेस में थी। उसमें सीमेंट लगा था। सूटकेस को टीन की पेटी में रखा गया था। शव डिकंपोज हो गया था। इससे भयंकर बदबू आ रही थी। कॉलोनी के सीसीटीवी फुटेज से आरोपियों की पहचान हो गई थी। इसके बाद मृतक का पता चल गया। एसएसपी ने आरोपियों को पकड़ने वाली टीम को नकद राशि से पुरस्कृत किया है।
ऐसी थी हत्या की योजना
योजना के तहत आरोपी अंकित उपाध्याय ने पहले स्वयं डिजाइन कर अपना फर्जी आधार कार्ड बनाया। इसमें अपना पता कोरबा बताया। इस आधार कार्ड के जरिए उसने धमतरी के बलियारा ग्राम निवासी एक व्यक्ति से पुरानी अल्टो कार सीजी 04 बी 7744 को 60 हजार में खरीदी। इसके बाद इंदप्रस्थ कालोनी में 19 जून 2025 को डी/321 फ्लैट किराए पर लिया। फिर 21 जून को अंकित अपने घर सत्यम विहार रायपुरा से अल्टो कार से किशोर के घर हांडीपारा गया। उसने किशोर को बताया कि उनके घर की सफाई करनी है, तब तक मेरे इंद्रप्रस्थ के मकान में रहना। यह कहकर अपने साथ फ्लैट में ले गया। उसकी पत्नी शिवानी अपनी दोपहिया से फ्लैट पहुंची। सुबह करीब 10 बजे नाश्ता करने के बाद किशोर आराम करने लगा। किशोर जैसे ही सोने लगा, वैसे ही अंकित उसकी छाती में बैठकर उसका गला दबा दिया। उसकी पत्नी ने किशोर का पैर पकड़ लिया। किशोर बेसुध हो गया तो अंकित ने चाकू से किशोर के गले में वार किया। इससे उसकी मौत हो गई। इसके बाद शव को रूम में छोड़कर दोनों अपने घर सत्यम विहार चले गए। शाम को दोनों फिर फ्लैट में पहुंचे। शव से निकले खून को टॉवेल से साफ किया।
इस बीच पहली पत्नी अपने बच्चों के साथ किशोर को छोड़कर चली गई। किशोर अपनी मां के साथ रहता था। 2022 में उनकी मां शांति बाई पैंकरा की संदिग्ध हालात में मौत हो गई। इसके बाद किशोर ने अहिवारा की एक महिला को दूसरी पत्नी के रूप में रख लिया। महिला कुछ दिन किशोर के साथ रही। इसके बाद अंकित ने उसे भी बरगला का भगा दिया। उसके आने-जाने पर रोक लगा दी। कुछ दिनों बाद महिला का आना-जाना बंद हो गया। अब किशोर अकेला ही रहने लगा।