Adani Group को बदनाम करने की साजिश नाकाम, INDIA की पार्टियों का मिला साथ, अलग-थलग पड़ी कांग्रेस
Adani Group को बदनाम करने की साजिश नाकाम, INDIA की पार्टियों का मिला साथ, अलग-थलग पड़ी कांग्रेस अदाणी ग्रुप पर लगातार झूठे आरोप लगाकार कांग्रेस हर तरफ से घिरती जा रही है. अदाणी ग्रुप पर अमेरिका में घूस लेने के आरोप लगे थे. लेकिन,ग्रुप ने बयान जारी इन सभी आरोपों को खारिज किया है. अदाणी ग्रुप को इस दौरान मार्केट और निवेशकों का भी भरपूर साथ मिला. बुधवार और गुरुवार को अदाणी ग्रुप के शेयरों में जबरदस्त उछाल देखा गया. बुधवार को इस ग्रुप ने अच्छी-खासी रिकवरी कर ली थी. सिर्फ मार्केट ही नहीं, अदाणी ग्रुप को देश और विदेश से भी सपोर्ट मिला है. विपक्षी गठबंधन INDIA अलायंस के कई नेताओं ने अदाणी ग्रुप का समर्थन किया है. ऐसे में अदाणी ग्रुप पर लगाए गए झूठे आरोपों को लेकर कांग्रेस अपने गठबंधन में ही अलग-थलग पड़ गई है.कांग्रेस का हाथ साथियों ने छोड़ायहां ध्यान देने वाली बात ये है कि दूसरे देश अदाणी के समर्थन में खड़े हो रहे हैं, लेकिन यहां अपने ही देश में कांग्रेस अपने ही देश की कंपनी के खिलाफ मुहिम चला रही है. हालांकि, अब उसके साथी उसका साथ छोड़ रहे हैं. INDIA गठबंधन की सहयोगी TMC ने बयान दिया कि वो नहीं चाहती कि अदाणी मुद्दे पर संसद में गतिरोध जारी रहे, जनहित के और मुद्दे भी हैं, जिनपर बात होनी चाहिए. केरल की लेफ्ट पार्टी ने किया सपोर्टइसी INDIA गठबंधन की लेफ्ट पार्टी की सरकार केरल में है. वहां की सरकार ने आज अदाणी विड़िन्यम पोर्ट प्राइवेट लिमिटेड के साथ विड़िन्यम पोर्ट प्रोजेक्ट को पांच साल बढ़ाने का करार किया. केरल के सीएम पिनराई विजयन ने X पर एक पोस्ट जारी कर कहा कि 10 हजार करोड़ की लागत से इसकी क्षमता बढ़ाई जाएगी. जगन मोहन रेड्डी ने अदाणी ग्रुप पर लगे आरोपों को किया खारिजआंध्र प्रदेश के पूर्व सीएम जगन मोहन रेड्डी ने अदाणी ग्रुप से जुड़े लोगों पर घूस के आरोपों को खारिज किया है. आंध्र में प्रोजेक्ट के लिए घूस देने के आरोप अमेरिका में लगे हैं. जगन ने कहा है कि ये करार दो सरकारी एजेंसियों के बीच हुआ और इसमें किसी बाहरी व्यक्ति की कोई भूमिका नहीं थी. इससे साबित होता है कि जब बाहरी व्यक्ति की भूमिका ही नहीं थी तो रिश्वत की बात ही बेमानी है. ये करार आंध्र प्रदेश इलेक्ट्रिसिटी डिस्ट्रिब्यूशन कंपनी (APEPDCL) और केंद्रीय एजेंसी सोलर एनर्जी कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया यानी SECI के बीच हुआ था. SECI ने देश में 12 गीगावॉट की रिन्यूएबल एनर्जी आपूर्ति के लिए टेंडर निकाला था. मानहानि का करेंगे दावा अब जगन ने बताया है कि चूंकि अदाणी ग्रुप ने सबसे सस्ती बिजली का प्रस्ताव दिया था, इसलिए ये करार हुआ. बिजली की दर 2.49 रुपये थी . जगन ने जानकारी दी कि वो मीडिया संस्थान आंध्र ज्योति और ईनाडू के खिलाफ गलत खबर छापने के लिए 100 करोड़ रुपये की मानहानि का दावा करेंगे. जगन ने गौतम अदाणी और उनकी मुलाकात पर उठाए जा रहे सवालों को भी दरकिनार किया और कहा कि उद्योगपतियों और नेताओं के बीच मुलाकात सामान्य बात है. छत्तीसगढ़, तमिलनाडु, ओडिशा, जम्मू-कश्मीर की स्टेट इलेक्ट्रिसिटी डिस्ट्रिब्यूशन बोर्ड ने भी बिजली खरीद के कॉन्ट्रैक्ट साइन किए थे. आपको बता दें कि इससे पहले बीजेडी भी रिश्वत के आरोपों को खारिज कर चुकी है.अदाणी ग्रुप को समर्थन देश ही नहीं बल्कि विदेशों से भी मिल रहा है. इजरायल, तंजानिया समेत कई देशों ने अदाणी ग्रुप का समर्थन किया है.अदाणी ग्रुप से निवेश चाहता है इजरायल आज इजरायल के राजदूत रूवेन अजर ने भी एक तरह से अमेरिका में लगे आरोपों को दरकिनार कर दिया. उन्होंने कहा कि हम चाहते हैं अदाणी ग्रुप इजरायल में निवेश करता रहे. न्यूज एजेंजी ‘रॉयटर्स’ के साथ इंटरव्यू में उन्होंने कहा कि इजरायल को कोई दिक्कत नजर नहीं आती और उम्मीद है कि जो भी मसले हैं, उन्हें अदाणी ग्रुप सुलझा लेगा. इजरायल के हाफिया पोर्ट में अदाणी ग्रुप की 70% हिस्सेदारी है. कई दूसरे इजरायली प्रोजेक्ट में भी अदाणी ग्रुप का निवेश है.श्रीलंका और तंजानिया कॉन्ट्रैक्ट रखेंगे बरकरारश्रीलंका पोर्ट्स अथॉरिटी और तंजानिया सरकार ने अदाणी ग्रुप के साथ अपने समझौतों पर प्रतिबद्धता जताई है. अबू धाबी की IHC ने भी अदाणी ग्रुप में अपना विश्वास बरकरार रखा है. अदाणी ग्रुप श्रीलंका में पोर्ट स्ट्रक्चर के विस्तार में अहम भूमिका निभा रहा है. कोलंबो टर्मिनल में 1 अरब डॉलर के निवेश के साथ यह प्रोजेक्ट श्रीलंका के पोर्ट एरिया में सबसे बड़ा प्रत्यक्ष विदेशी निवेश है. श्रीलंका पोर्ट्स अथॉरिटी के चेयरमैन एडमिरल सिरिमेवन रानसिंघे (रिटायर्ड) ने कहा है कि प्रोजेक्ट को रद्द करने पर कोई चर्चा नहीं हुई है. यह प्रोजेक्ट अगले कुछ महीनों में शुरू हो जाएगी. हालांकि, श्रीलंका सरकार के प्रवक्ता नलिंदा जयतिस्सा ने 26 नवंबर को कहा था कि देश ने अदाणी ग्रुप के स्थानीय निवेशों की जांच शुरू कर दी है.तंजानिया ने भी जताया भरोसातंजानिया सरकार ने भी अदाणी पोर्ट्स के साथ अपने समझौतों पर प्रतिबद्धता दोहराई है. सरकार का मानना है कि चल रही परियोजनाओं को लेकर कोई चिंता नहीं है. सभी कॉन्ट्रैक्ट तंजानिया के कानून के अनुसार हैं. मई 2024 में तंजानिया और अदाणी पोर्ट्स ने दार एस सलाम बंदरगाह पर कंटेनर टर्मिनल 2 के संचालन के लिए 30 साल का समझौता किया था. इसके अलावा अदाणी पोर्ट्स ने तंजानिया इंटरनेशनल कंटेनर टर्मिनल सर्विसेज में 9.5 करोड़ डॉलर में 95 फीसदी हिस्सेदारी हासिल की थी.अदाणी ग्रुप के शेयर लगातार दूसरे दिन चढ़ेअदाणी ग्रुप पर इसी चौतरफा भरोसे का तकाजा है कि आज अदाणी ग्रुप के शेयर लगातार दूसरे दिन चढ़े. ये ख़ास इसलिए है, क्योंकि ये ऐसे दिन हुआ जब बाकी शेयर बाजार गिरा हुआ था. निफ्टी और सेंसेक्स दोनों करीब डेढ़ फीसदी गिरे, लेकिन आज अदाणी ग्रुप के ज्यादातर शेयर चढ़े. जिस अदाणी ग्रीन को निशाना बनाया गया, वो आज लगातार दूसरे दिन दस फीसदी चढ़ा.ग्लोबल रेटिंग एजेंसी S&P Global ने Corporate Sustainability Assessment में अदाणी पावर को 100 में 67 अंक दिए हैं. जबकि पूरे सेक्टर को मिलने वाला औसत अंक 42 है. ये अंक कंपनियों को उनके प्रदर्शन के आधार पर दिए जाते हैं.