Quick Feed

हिंदू धर्म में चैत्र महीने क्यों है खास, कब से हो रहा शुरु और कौन से पड़ेंगे व्रत और त्योहार, जानिए यहां

हिंदू धर्म में चैत्र महीने क्यों है खास, कब से हो रहा शुरु और कौन से पड़ेंगे व्रत और त्योहार, जानिए यहांChaitra month calendar 2025 : हिंदू कैलेंडर में चैत्र का महीना बहुत खास होता है. हिन्दू धर्म में चैत्र मास को नए साल के रूप में मनाया जाता है. यह मास होली के बाद शुरु होता है. यानी इस बार चैत्र 30 मार्च से आरंभ हो रहा है. आपको बता दें कि इस माह में सूर्य अपनी उच्च राशि यानी मेष में प्रवेश करता है. चैत्र का महीना भक्ति और संयम का होता है. साथ ही सेहत संबंधी बदलाव भी बहुत होते हैं. इस महीने में सूर्योदय से पहले उठकर ठंडे पानी से नहाना चाहिए और उगते सूरज को अर्घ्य देकर दिन की शुरुआत करें. चैत्र का महीना धर्म और विज्ञान दोनों के लिहाज से बहुत अच्छा होता है. Chaitra navratri 2025 : इस बार कितने दिन की होगी चैत्र नवरात्रि, जानिए यहांइसके अलावा चैत्र के महीने में और क्या कुछ खास होता है, आइए जानते हैं…पौराणिक मान्यता अनुसार, ब्रह्माजी ने चैत्र मास शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि से ही सृष्टि की रचना शुरू की थी. कहा जाता है इसी दिन भगवान विष्णु ने दशावतार में पहला मत्स्य अवतार लेकर प्रलयकाल में मनु की नौका को सुरक्षित जगह पर पहुंचाया था.इस महीने में सूर्य की उपासना करना चाहिए. इससे पद-प्रतिष्ठा के साथ ही शक्ति और ऊर्जा भी प्राप्त होती है. चैत्र महीने के दौरान नियम से पेड़-पौधों में पानी डालना चाहिए और जरुरतमंदों को लाल फल का दान करना चाहिए. अब आते हैं चैत्र मास में क्या नहीं करना चाहिएचैत्र मास में दूध का सेवन नहीं करना चाहिए, क्योंकि यह सेहत के लिए नुकसानदायक हो सकता है. इस महीने में आपको दही और मिसरी का सेवन करने स्वास्थ्य को कई लाभ होगा.साथ ही इस महीने नमक का सेवन न करें. चैत्र मास में कम से कम 15 दिन नमक को त्याग देना चाहिए. जिन लोगों का बीपी हाई है उन्हें तो खासतौर से नमक खाना छोड़ देना चाहिए. इसके अलावा तली-भुनी चीजों का सेवन भी बहुत ज्यादा नहीं करना चाहिए. इससे पेट संबंधी परेशानी हो सकती है. इसलिए चैत्र के महीने में तरल चीजों या फिर फलों का सेवन बढ़ा देना चाहिए. चैत्र महीने में पड़ने वाले पर्व15 मार्च 2025 – चैत्र मास प्रारंभ16 मार्च 2025 – भाई दूज17 मार्च 2025 – भालचद्र संकष्टी चतुर्थी19 मार्च 2025 – रंग पंचमी21 मार्च 2025 – शीतला सप्तमी22 मार्च 2025 – शीतला अष्टमी, बसोड़ा, कालाष्टमी25 मार्च 2025 – पापमोचिनी एकादशी27 मार्च 2025 – प्रदोष व्रत, मासिक शिवरात्रि29 मार्च 2025 – सूर्य ग्रहण, चैत्र अमावस्या30 मार्च 2025 – गुड़ी पड़वा, चैत्र नवरात्रि31 मार्च 2025 – गणगौर 06 अप्रैल 2025 – रामनवमी12 अप्रैल 2025 – चैत्र पूर्णिमा हनुमान जयंती(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)

पौराणिक मान्यता अनुसार ब्रह्माजी ने चैत्र मास शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि से ही सृष्टि की रचना शुरू की थी. मान्यता है इसी दिन भगवान विष्णु ने दशावतार में पहला मत्स्य अवतार लेकर प्रलयकाल में मनु की नौका को सुरक्षित जगह पर पहुंचाया था.
Bol CG Desk (L.S.)

Related Articles

Back to top button